Posts

यदि आप जश्न मना रहे हैं तो आप उत्तराखंडी नहीं हैं जानते हैं क्यों ?

Image
स. संपादक शिवाकांत पाठक! नए साल का जश्न मनाना हमारा हक है अधिकार है क्यों कि हम स्वतंत्र हैं लेकिन क्यों ? काभी आप ने इस बारे में सोचा कि हम यह जश्न मना कर क्या संदेश देना चाहते हैं अपने नई पीढ़ी को जो आए दिन आने वाली आपदाओं की भेंट चढ़ने से बच गई हैं सभी जानते हैं कि  उत्तराखंड भारत के प्रमुख तीर्थ स्थानों का केंद्र बिंदु है जहां हजारों की संख्या में देश, विदेश के पर्यटक आते हैं व सरकारों का लाभ भी है लेकिन यहां पर हर वर्ष आने वाली दैवीय आपदाओं के लिए केवल घड़ियाली आंसू बहाए जाते हैं आज तक किसी भी सरकार ने अपने एजेंडे में उत्तराखंड की भूमि में आने वाली आपदाओं के निराकरण को लेकर कोई जिक्र नहीं किया , आज इसी बात पर हम जश्न मनाते हैं, हमने केदार नाथ आपदा में जिन्हें खो दिया उनके ना होने का जश्न मनाते हैं , चमोली ग्लेशियर की घटना पर हमने जिन्हें खो दिया उन पर जश्न मनाते हैं सच बताओ कि क्या यही है जश्न मनाने का सही कारण या फिर कोई और है? हम भूल गए उन सच्चे वीरों को जिन्होंने प्रथक उत्तराखंड की मांग को लेकर अपने प्राण न्यौछावर कर दिए पुलिस की बेरहमी को सहा आज हम उनकी उस शहादत को भुला कर...

छल कपट की दोस्ती व व्यवहार का परिणाम!

Image
  स. संपादक शिवाकांत पाठक!  निर्मल जल मन सो मोहि पावा, मोहि कपट छल छिद्र न भावा!! भगवान राम ने कहा कि मुझे कपट, झूठ, छल पसंद नहीं है निर्मल जल की तरह साफ मन मुझे प्रिय है ! श्री राम चरित मानस में गोस्वामी तुलसीदास जी महराज लिखते हैं लाभ, हानि, जीवन, मरण, जस अपजस, विधि हांथ ये छ: बातें विधि अर्थात कानून के अधीन हैं कुदरत के भी अपने कानून होते हैं जिस ईश्वर ने यह संसार बनाया है उसने इस संसार को सही तरीके से चलाने की व्यवस्था के अनुसार एक सिस्टम (तरीका) भी बनाया है  शास्त्रों, पुराणों के अनुसार जो भी प्राणी जैसा कर्म करे उसे वैसा ही फल प्रदान किया जाए यहां प्रमाण स्वरूप गोस्वामी तुलसीदास जी महराज राम चरित मानस में लिखते हैं कि ,  "जो जस करै सो तस फल चाखा, कर्म प्रधान विश्व रच राखा" !! लेकिन हम खुद ही अपने आप को कलाकार बुद्धिमान समझ कर लिखी बातों को नजरंदाज करते हुए स्वार्थ सिद्ध होने तक वही कार्य करते हैं जो सच नहीं होते हम किसी भी वस्तु, व्यक्ति से लाभ, फायदे के लिए मिलते समय बड़ा मीठा व्यवहार करते हैं बाद में जब उस व्यक्ति से हमको लाभ मिल जाता है तो हम उसके साथ विपरीत...

प्राचीनता की विदाई और नवीनता के उल्लास की वजह क्या है

Image
  *{जिनके पास दिमाग है उन्हें यह लेख समझ में आयेगा}* *स. संपादक शिवाकांत पाठक* नए साल का जश्न मनाने की तैयारियां जोरों पर हैं वर्ष 2021 जा रहा है और वर्ष 2022 आ रहा है 1 जनवरी का वह एक दिन नया होगा बाकी सब कुछ पुराना हो गया सारे रिश्ते नाते जमीन, आसमान, चांद तारे सब कुछ तो पुराना हो जाएगा 1 जनवरी आते ही क्या यही सच है ? हमारे संपर्क में आने वाली हर चीज आने से पहले नई होती है लेकिन संपर्क में आने के बाद वह पुरानी हो जाती है तो फिर हम खुद नए को पुराना करने वाले मशीन साबित होते हैं चाहें कोई भी वस्तु हो या इंसान सब कुछ हमारे संपर्क में आने के पुराना हो जाता है तभी तो नई कार, नया घर , घर में नया पेंट , नए कपड़े सब कुछ नया खोजते रहते हैं हम क्यों हमारे अंदर हर नई चीज को पुराना करने की क्षमता का विकास प्रबल हो चुका है ,लेकिन जो भी हम छोड़ रहे वह इतिहास एक बार फिर अपने आप को दुहराएगा यह ध्रू सत्य है क्यों कि हमारे संपर्क में आने के बाद इंसानियत, सहृदयता, निराभिमानिता, मानवता, परोपकारिता, सेवाभाव, इमानदारी, सज्जनता , विसुद्घ प्रेम आदि सभी पुराने हो चुके हैं इतिहास बन चुके हैं हम काफी समय स...

उत्तराखंड में 3 नए ओमिक्रोन पॉजिटिव केस!

Image
  अभिषेक कुमार तहसील संवाददाता ! हरिद्वार एवं देहरादून में पाये गये हैं ओमिक्रोन के मामले राज्य में ओमिक्रोन पॉजिटिव मरीजों की कुल संख्या हुई  डीजी हेल्थ डा० तृप्ति बहुगुणा ने दी जानकारी 28 वर्षीय व्यक्ति यमन से भारत आया और जिसका सैम्पल मेला चिकित्सालय, हरिद्वार द्वारा कोविड-19 जांच उपरान्त पॉजिटिव पाया गया है। पॉजिटिव मरीज को आईसोलेट कर आवश्यक कदम गए हैं

क्या आप जानते हैं गीता का सबसे प्रसिद्ध श्लोक ?

Image
  स. संपादक शिवाकांत पाठक! अपना काम करो, फल की चिंता मत करो! यह बात अपने आसपास के लोगों से आपने बहुत बार सुनी होगी, है न? उनसे यदि पूछें कि ऐसा किसने कहा है 🤔तो उनका जवाब होगा, "अरे! गीता में श्रीकृष्ण ने बताया है", _अद्भुत बात यह है कि गीता पढ़े बिना हम सबको पता है कि गीता में श्रीकृष्ण ने क्या-क्या कहा है!_ देखते हैं कि यह बात कहाँ से आ रही है, *कर्मण्येवाधिकारस्ते मा फलेषु कदाचन।* _कर्म करने में ही तेरा अधिकार है, फलों में कभी नहीं।_ तो लोगों ने इस श्लोक का अर्थ लगाया कि फल की परवाह करे बिना बस कर्म करते चलो। *पर कौन-सा कर्म करें?* इस बात को हम बिल्कुल दबा गए जबकि श्रीकृष्ण के उपदेश में यही बात (सही कर्म का चयन) सर्वोपरि है। *नतीजा:* हम ज़्यादातर गलत काम चुनते हैं, और फिर कहते हैं, "बस अपना काम करे चलो डूबकर, और फल की चिंता मत करो"। ये बात गलत और नुकसानदेह है। सबसे पहले आता है सही कर्म का चयन। *सही कर्म कौन सा है?* सही कर्म वो है जो अपनी व्यक्तिगत कामना की पूर्ति के लिए न किया जाए, बल्कि कृष्ण (सत्य) के लिए किया जाए। यही निष्कामता है। *पर अपनी कामना को पीछे छोड़ना ...

नव विवाहिता ने फांसी लगाकर जान दी पोलिश जुटी जांच में!

Image
  (दूसरी ओर,,सिर काटी लाश मिलने से पुलिस हुई चौकन्ना) स. संपादक शिवाकांत पाठक! हरिद्वार के सिडकुल इलाके में नवविवाहिता ने फांसी लगा ली. जिस नवविवाहिता ने आत्महत्या की है, उसकी शादी एक साल पहले ही हुई थी. नवविवाहिता सिडकुल थाना क्षेत्र में किराए के मकान में रहती थी.  हरिद्वार: सिडकुल थाना क्षेत्र के रावली महदूद गांव में नवविवाहिता ने आत्महत्या की है. महिला ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली. मामले की जानकारी मिलते ही पुलिस भी मौके पर पहुंची और घटना का जानकारी ली. जानकारी के मुताबिक नवविवाहिता सरिता (20) पत्नी अमित विकाश नगर कालौनी रावली महदूद में किराए के मकान में रहती थी. महिला की एक साल पहले ही शादी हुई थी. आत्महत्या के कारणों का अभी तक पता नहीं चल पाया है पुलिस गहराई से इस मामले की जांच कर रही . पुलिस ने शव को  कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है !  आज दिनांक 26-12-2021 को थाना सिडकुल क्षेत्रान्तर्गत थाना सिडकुल से करीब 500 मीटर आगे सूर्यनगर कालोनी जोहड में एक अज्ञात पुरुष का शव बरामद हुआ है । शव का धड नही है शेष आधा हिस्सा सडी - गली हालत में है शव लगभग एक से...

चुनावी व्यय के संबंध में प्रशिक्षण कार्यक्रम!हरिद्वार!

Image
  स. संपादक शिवाकांत पाठक!  विधान सभा सामान्य निर्वाचन-2022 के सफल सम्पादनार्थ बुधवार को  कलेक्ट्रेट सभागार, रोशनाबाद, हरिद्वार में  समस्त राजनैतिक दलों, बैंको व लेखा टीमों के प्रभारियों हेतु चुनावी व्यय से सम्बंधित प्र्रशिक्षण कार्यक्रम जिलाधिकारी/जिला निर्वाचन अधिकारी श्री विनय शंकर पाण्डेय की अध्यक्षता में आयोजित किया गया।          कार्यक्रम का संचालन मुख्य कोषाधिकारी, हरिद्वार/नोडल अधिकारी व्यय एवं मास्टर ट्रेनर श्रीमती परवीन कौर एवं सुश्री शैफाली गुप्ता, कोषाधिकारी/ सहायक नोडल अधिकारी व्यय द्वारा राजनैतिक दलों के भावी प्रत्याशियों/ एजेंटो को नामाकंन से लेकर चुनावी परिणाम जारी होंने तक होने वाले व्ययों- समस्त प्र्रत्याशियों द्वारा पृथक से चुनावी व्यय हेतु पृथक खाता खोला जायेगा,  जिससे कर चुनाव से सम्बंधित समस्त व्यय ्रप्र्रत्याशियों द्वारा उक्त खाते से ही किये जायंेगे, प्रत्येक बैंक द्वारा जिसमें प्रत्याशी अपना चुनावी खाता खोलंेगे, के द्वारा प्रत्याशियों हेतु अलग काउटर स्थापित किये जायेगे, ए.टी.एम. आॅन व्हील के कर्मचारियों को आइ्र्र....