मर्यादा पुरुषोत्तम राम की प्राण प्रतिष्ठा में सप्रेम भेंट स्वरचित कविता 🌹🙏

 



प्रभु कितने दुख झेले तुमने यह सोच द्रवित मन होता है।


हे राम सभी को क्षमा करो भारत का कण कण रोता है।।


तुम मर्यादा पुरुषोत्तम हो,,इसलिए नहीं तुम घबराए।


पर भक्त तुम्हारे नहीं डरे, जब भी उन पर संकट आए।।


जिन वीरों ने बलिदान किया उनका अभिनंदन करता हूं।


हे उर प्रेरक रघुवंश मणि मैं शतशत वंदन करता हूं।।


मैं क्या सोचूं तुम बतलाओ, जो तुम चाहो वो होता है,,,


हे राम सभी को क्षमा करो भारत का कण कण रोता है।।


तुम तो खुद ही निर्णायक हो फिर क्यों ,,विलंब से न्याय हुआ।


थे हठ धर्मी अन्याई जो, उनके कारण अन्याय हुआ।।


प्रभु कृपा आपकी हुई तभी तो भक्त आपके जागे हैं।


हैं दुखी आपके आने से जो,, शायद वही अभागे हैं।।


हे रघुनंदन तेरे दर्शन कर सका नहीं जो सोता है ,,,,



हे राम सभी को क्षमा करो भारत का कण कण रोता है।।


स्वरचित मौलिक रचना


स.संपादक शिवाकांत पाठक


वी एस इंडिया न्यूज चैनल दैनिक विचार सूचक समाचार पत्र परिवार हरिद्वार उत्तराखंड

संपर्क सूत्र,,📲9897145867

Comments

Popular posts from this blog

कैसे बचेगी बेटियां,? नवोदय नगर में दिन दहाड़े प्रेमी ने गला रेत कर कर दी हत्या,! हरिद्वार,!

फुटबॉल ग्राउंड फेज 1 जगजीतपुर कनखल थाना क्षेत्र में घर में घुसकर बदमाशों द्वारा की गई मारपीट,,,!हरिद्वार,!

नवोदय नगर में घटी बहुत ही दुखद घटना!